Quote..34

तेरे पास वतन के लिए प्रेम है
और मेरे पास सलाउद्दीन है।
अतएव
रहो मूक बन संग कुछ ना कहेंगे,
तुम्हीं सेक्युलर सबको कहते रहेंगे,
मगर प्रेम उबला वतन के लिए तो,
नए साजिशें नित्य करते रहेंगे।
पता है तुम्हारी हरक्कत सभी
तू ना बदले थे कल ना ही बदले अभी,
खौफ तुमसे नहीं,दर्द अपनों से है,
उनकी नादानियाँ,स्वार्थ-सपनों से है,
तुम करो साजिशें हम कुचलते रहेंगे,
सलाउद्दीन को हम मसलते रहेंगे।।
-madhureo.com

Tere paas vatan ke lie prem hai
aur mere paas salauddeen hai.
……atyev…..
raho mook ban sang kuchh na kahenge,
tumheen sekyular sabako kahate rahenge,
magar prem ubala vatan ke lie to,
nae saajishen nity karate rahenge.
pata hai tumhaaree harakkat sabhee
too na badale the kal na hee badale abhee,
khauph tumase nahin,dard apanon se hai,
unakee naadaaniyaan,svaarth-sapanon se hai,
tum karo saajishen ham kuchalate rahenge,
salauddeen ko ham masalate rahenge..
!!!Madhusudan!!!

Follow my writings on https://www.yourquote.in/madhusudan_aepl #yourquote

9 Comments

  • नमस्कार भैया जी।
    बहुत बड़ी बात बहुत ही बेबाकी और शालीनता के साथ आप के कहा।

    कुछ फिरके कुत्ते की पूँछ की तरह होते है जिनकी फिदरत कभी नही बदलती। कितना भी घी मक्खन लगा दीजिए कुत्ते की पूँछ टेढ़ी की टेढ़ी ही रहेगी। हमे असहिष्णु कहने वाले अपनी गिरेबान झांक कर देख लेते तो ऐसा न होता। लेकिन ये धार्मिक उन्मादी उस जन्नत के लिए जिसका कोई पता ठिकाना नही है, मानवता को शर्मसार करके धरती को जहन्नुम बनाने पर तुले हुए है।
    लेकिन हम भी पीछे नही हटेंगे । स्वर्ग के लिए नही बल्कि मानवता की खातिर हमे भी अमानवीय होना पड़ेगा।
    क्योकि कहा गया है “शठे शाठयम समाचरेत”

    • बहुत ही खूबसूरत प्रतिक्रिया।काश हम सभी खुद को सबसे ऊपर उठ सिर्फ भारतीय कहते।धन्यवाद आपका।

Your Feedback