जिंदगी जंग है,जंग है जिंदगी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी,
है अनेक रास्ते एक को ढूंढता,
जब से दुनिया में हैं रास्ते चुनता,
हम समर्पण करें या लड़े जिंदगी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी |
बात खाने की हो ब्यंजने हैं कई,
धर्म,जाति कहें तो यहां हैं कई,
शासनों के कई रास्ते क्या सही,
हर कदम मुश्किलें व्यग्र है जिंदगी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी|
छल से दुनियाँ भरी,हर कदम पर दगा,
चूक होते ही मिलती यहां पर सजा,
हर कदम रास्ते किसको चुनेगे हम,
पहले शादी करें या करें प्यार हम,
पुत्र पैदा हुआ हम पढ़ाएं कहाँ,
क्या खिलाएं,पिलायें,सुलाएं कहाँ,
है कहाँ गम,कहाँ पर छुपी है ख़ुशी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी|
बात चुनने की है जबतलक हम रहें,
चुनना है बिकल्प जबतलक हम रहें,
है सही क्या गलत किसको चुनेंगे हम,
किसकी आँखों में खुशियों को ढूंढेंगे हम,
हम अल्लाह कहें या कहें राम को,
हम गीता पढ़ें या कुरआन को,
बंदिशें है लगाता कोई भी यहां,
है समर्पण कराता कोई भी यहां,
फिर समर्पण करें या लड़े जिंदगी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी |
हम समर्पण करेंगे तो बच जाएंगे,
है खुद्दारी तो जीकर भी मर जाएंगे,
हम लड़े तो वहाँ पर भी दो रास्ते,
हर जगह है परीक्षा मेरे वास्ते,
मिट गए हम अगर वीर मानेंगे सब,
बच गए राज धरती पर पाएंगे हम,
कशमकश जबतलक साथ है जिंदगी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी,
क्या करे ना करे तंग है जिंदगी।
!!! Madhusudan !!!
अजनबी says
Waah
Madhusudan says
Thank you
shiva_yadav_ji says
Bahut khub
Madhusudan says
Sukriya apka…
poemsofkavya says
Very nice..
Madhusudan says
Sukriya apka….