Krurta/क्रूरता

भूख से व्यग्र एक कुतिया,बार बार गलियों का चक्कर लगाती,इंसानों को देख अपनी पूँछें हिलाती,चेहरे के आव-भाव से भूखी होने का भाव दर्शातीमगर कहीं से भी रोटी का एक टुकड़ा नही मिल पाने परवापस अपने बच्चों के पास आकर लेट जाती,फिर टूट पड़ते नासमझ बच्चे उसपरऔर नोचने लगते स्तन।पेट में अन्न का दाना नहीऔर ना […]

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AARZU/ आरजू

Image Credit : Google Hamne apne ek priye lekhika Yasmin ji ki ek kavita padhi aur kuchh shabd panktiyan ban gaye:— है आरजू ये मेरी इनकार मत करना, ऐ दिल भूल से फिर प्यार मत करना। माना कि जन्नत है प्रेम की नगर में, बचना बड़े धोखे हैं प्रेम की डगर में, मीठी मीठी बातों […]

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GULAAB AUR HUM/गुलाब और हम

Image Credit : Google काँटों पर पले गुलाब और हम भी, टूटे वे और हम भी। कभी बालों में,कभी हाथों में, कभी हार बन,कभी प्यार बन, यहाँ-वहाँ,जहाँ-तहाँ कहाँ नहीं सजे हैं गुलाब और हम भी, फिर किसी चौराहे पर,बिखरे वे और हम भी। एक खुश दूजा डाल पर खिले थे, नजरों में दोनों सबके चढ़े […]

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JIWAN KA KHEL/जीवन का खेल

उपवन को महकाने आए, फूल को महक दिखाने आए, जिसने दी आँखों में आँसू हँसना वही सिखाने आए। जीवन का ये खेल निराला, देते अपने बन विष प्याला, कुछ ऐसे अपने जीवन में बन बैठे जिनके मतवाला। चिड़ियों को एक साथ चहकते फूलों को काँटों पर हँसते, देखा वृक्ष अडिग धरती पर, जिसके बल पर […]

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